कुमाऊँनी सुर सम्राट गोपाल बाबू गोस्वामी जी के गीत
सुनें गोपाल बाबू गोस्वामी जी का सुमधुर कुमाऊँनी गीत "पहाड़ै कि ऊंची नीची धारा"
पिछ्ले भागों में हमने गोपाल बाबू गोस्वामी जी के संगीत-जीवन के बारे में संक्षिप्त जानकारी प्राप्त की थी। लेकिन एक गायक, गीतकार जैसे कलाकार का असली परिचय उसके गीतों और गायकी के काम से होता है। क्योंकि उसकी गायकी और गीत ही उसका असली जीवन होता है। एक गायक के रूप में गोस्वामी जी कुछ उन गिने चुने गायकों में शामिल हैं जिनकी पहचान ऊंचे पिच की वोईस क्वालिटी के लिए होती है। गोस्वामी जी के गीतों के बारे में जानने के क्रम में हम गोस्वामी जी के एक कम प्रसिद्ध पर बड़े सुरीले गीत के बारे में जानेंगे। यह गीत गोस्वामी जी की एल्बम "ऊँची नीची धारा" का शीर्षक गीत है। इस गीत में पहाड़ के ऊंचे-नीचे रास्तों के बारे में वर्णन किया गया है:-
पहाड़ै कि ऊंची नीची धारा, माठू-माठू हिट भाना ओ....
बाट बड़ो उकावो हुलारा, माठू-माठू हिट भाना ओ....-२
पहाड़ै कि ऊंची नीची धारा, माठू-माठू हिट भाना ओ....-२
प्योंलि को फूल सुवा, प्योंलि को फूला-२
जवानि में भरि रै छै, जैसो नैनिताला-२
हिटण में मार ना लटाका, माठू-माठू हिट भाना ओ....-२
पहाड़ै कि ऊंची नीची धारा, माठू-माठू हिट भाना ओ....-२
क्यौ जनों माणि सुवा, क्यौ जनों कि माणि-२
तलि भीड़ा घुरि रौलि, लटि पटि दाणि
तलि भीड़ा छूटि रौलि, लटि पटि दाणि
बाट-बाट मार वे नजरा, माठू-माठू हिट भाना ओ
माठू-माठू हिट भाना ओ
पहाड़ै कि ऊंची नीची धारा, माठू-माठू हिट भाना ओ....-२
बुरुषिक फूल सुवा, बुरुषि को फूला-२
कै कि माया पड़ि रै छ, कैसि मार मारा
कै कि माया पड़ि रै छ, कैसि मार मार
झिट घड़ी भैट जा तू स्योवा, माठू-माठू हिट भाना ओ...२
पहाड़ै कि ऊंची नीची धारा, माठू-माठू हिट भाना ओ....-२
प्योंलि को फूल सुवा, प्योंलि को फूला-२
जवानि में भरि रै छै, जैसो नैनिताला-२
हिटण में मार ना लटाका, माठू-माठू हिट भाना ओ....-२
पहाड़ै कि ऊंची नीची धारा, माठू-माठू हिट भाना ओ....-२
बाट बड़ो उकावो हुलारा, माठू-माठू हिट भाना ओ....-२
( पिछ्ला भाग-२) सुर सम्राट गोस्वामी जी के जीवन तथा संगीत के बारे में आगे भी जानेंगे ( कृमशः भाग-४ )
( पिछ्ला भाग-२) सुर सम्राट गोस्वामी जी के जीवन तथा संगीत के बारे में आगे भी जानेंगे ( कृमशः भाग-४ )
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