
लिंगुणक साग (ल्यूण साग)
कुमाऊँनी खान-पान की रैसिपीप्रस्तुति: सुमीता प्रवीण
लिंगुणक साग (ल्यूण साग) - चार मैशने लीजि
समान(सामग्री):-
तीन गड्डी लिंगुण
द्वि दाण प्याजक
एक पुर लासनक गाँठ
पौ भर दै (ऐच्छिक)
एक ठुल डाड़ सरसों तेल
आधु चमच गरम मश्याल
आधु चमच राई दाण
हल्द, लाल खुश्याण,धणि, लूंण सवादक हिसाबेल
तरिक(बनाने की विधि):-
लिंगुण तोड़भेर वीक रेश निकाव भेर काट ल्यो।
गरम पाणि में ध्वे भेर उबाव ल्यो।
अब लुआ भदै में तेल गरम कर भेर राई दाण चटका ल्या, प्याज कें लाल हुण जाणे कौल ल्यो।
सप्पे मश्याल पिस भेर वी ले कौल ल्यो, फिर लिंगुणन कें ले भुन ल्यो हौर ढाक लगा दियो।
पांच मिन्टन में यो साग तैयार है जान्छ।
दै पछां खित्या जब साग भली के पाक जां।
लिंगुणक साग सुक्खो बणुछ।
दोहर तरिक
क्वे क्वे तो लिंगुण कें नी उमालन।
लिंगुण के साफ कर भेर घाम में धर भेर पतवो पतव काटनी।
भदै में तेल खित भेर प्याज कौलनी फिर लिंगुण व मश्याल दगड़े खित भेर भलीचार कौलनी और ढाक लगा दिनि। आधु घण्ट भीतेर खणे लिजी तैयार है जान्छ लिंगुण।

नोट-
लिंगुण बरखाक दिनों में हुनि। भौते स्वाद हुनि। ठंडी तासीर हुन्छ। जल्दी नी पचन ये लिजी बीमार आदिम कें नी दिण चैं।
सुमीता प्रवीण, मुंबई, July 12, 2021
सुमीता प्रवीण जी द्वारा फेसबुक ग्रुप उत्तराखंड रसोई विज्ञान पोस्ट से साभार
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